आगरा। पुलिस का कई बार मानवीय चेहरा भी देखने को मिलता है। आज होली के दिन यह चेहरा इंस्पेक्टर एत्माउद्दौला देवेंद्र दुबे के रूप में देखने को मिला जब वह उस परिवार के बीच में पहुंचे जिस परिवार के आज होली के ही दिन एक साल पहले बेटे की बेरहमी से हत्या कर दी गई थी। परिवार ने जब उन्हें अपने दुख में शामिल होते हुए देखा तो जो आंसू बह रहे थे वह उस यकीन में बदल गए कि पुलिस हत्यारोपियों को सजा भी दिलाएगी।
ट्रान्स यमुना में 25 मार्च 2024 को सोरनदास का बेटा रवि उर्फ बोना होली खेल रहा था। सुबह करीब 10 बजे दो-तीन लड़कों से उसकी कहासुनी हो गई। लड़कों ने उस पर ईंट से प्रहार कर दिया। इससे वह लहूलुहान होकर वहीं गिर गया। इसके बाद आरोपी मौके से फरार हो गए थे। पुलिस ने उन्हें गिरफ्तार कर जेल भेज दिया। इंस्पेक्टर एत्माउद्दौला देवेंद्र दुबे आज सुबह थाने पर त्योहार रजिस्टर देख रहे थे। जब उन्होंने देखा कि पिछले साल होली के दिन एक मां ने अपना बेटा खोया था और उसकी हत्या हुई थी तो उन पर रुका नहीं गया और वह उनके दुख को बांटने के लिए सीधे उनके घर पहुंच गए। परिवार के बीच गमहीन माहौल था। उन्हें रवि की याद सता रही थी। आज के दिन याद ताजा इसलिए और हो गई की होली के दिन ही उसकी हत्या हुई थी। एक ओर लोग होली का जश्न मना रहे थे तो दूसरी ओर परिवार में मातम छाया हुआ था। परिवार के बीच जब इंस्पेक्टर दुबे पहुंचे तो वह समझ नहीं पाए कि वह क्यों आए हैं। जब इंस्पेक्टर ने रवि की माता जी को प्रणाम किया और कहा कि मैं रवि को तो वापस नहीं ला सकता हूं लेकिन हत्यारोपियों को सजा दिलाने का वायदा जरूर करता हूं। यह शब्द सुनने के बाद मां के कलेजे को ठंडक मिली और उन्होंने इंस्पेक्टर के सिर पर हाथ रखकर कुछ कहना चाहा लेकिन आंसू बंद होने का नाम नहीं ले रहे थे, उनके आंसू जो बयां कर रहे थे वह शब्द बयां नहीं कर सकते थे।